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साइबर ठगों से वापस कराई पुलिस ने चोरी की रकम

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साइबर ठगी के मामले में ऋषिकेश पुलिस को बढ़ी कामयाबी हाथ लगी है। समय पर सूचना मिलने और तुरंत एक्द्वाशन के चलते साइबर ठगों से 40000 रुपये वापस कराए गए। 6 अप्रैल 2017 को सतेन्द्र कुमार डीजीबीआर कैम्प (ग्रीफ) ऋषिकेश ने शिकायत दर्ज कराई कि किसी अज्ञात व्यक्ति ने फोन पर एटीएम का पासवर्ड हासिल कर उनके खाते से ₹50,000 निकाल लिए हैं। इस बारे में प्रभारी निरीक्षक कोतवाली ऋषिकेश ने कांस्टेबल कमल जोशी को  इस केस को  सुलझनाे के लिये लगाया।

जाच के दौरान पता चला कि 50,000/-  मे से 40,000/-  एम पैसा कम्पनी और 10,000 एयरटेल मनी के खाते में ट्रांसफर किया गया था। इस पर कार्यवाही करते हुए कम्पनी के खातो को सीज किया गया था तथा शिकायतकर्ता के खाते से सम्बन्धित जानकारी कम्पनी को भेजी गयी। जिस पर एम पैसा के खाते में बचे 40,000 शिकायतकर्ता के खाते में वापस आ गये है।

पिछले दिनों उत्तराखंड में और खासतौर पर देहरादून, उधमसिंह नगर इलाकों में साइबर अपराधों के मामलों मेों खासा इजापा हुआ है। इसमें खासतौर पर साइबर हैकिंग के माध्यम से एटीएम और बैंक खातों से पैसे निकालना प्रमुख है। पुलिस ने भी लोगों से अपने बैंक खातों को आॅनलाइन आॅपरेट करने में खासी सावधानी बरतने के लिये कहा है।

प्रमोशन के लिए केबीसी में जूनियर बच्चन

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हाल ही में सोनी चैनल पर ‘कौन बनेगा करोड़पति’ का 9वां सीजन शुरू हुआ, जिसमें इस बार एक खास बात ये बताई गई कि इस नए सीजन के दौरान किसी भी फिल्म सेलिब्रिटी को किसी तरह के प्रमोशन के लिए शो में नहीं बुलाया जाएगा।

सोनी चैनल की ओर से शो का प्रसारण शुरू होने से पहले बुलाई गई प्रेस कांफ्रेंस में इस बात की अधिकारिक तौर पर घोषणा भी की गई थी। अब इसी शो को लेकर खबर आ रही है कि इस सीजन में मेहमान के तौर पर केबीसी के सेट पर जूनियर बच्चन, यानी अभिषेक बच्चन पंहुचेंगे और वो इसलिए कि उनकी कबड्डी की टीम जयपुर पैंथर कबड्डी प्रीमियर लीग में हिस्सा ले रही है।

अभिषेक बच्चन के केबीसी में आने को लेकर केबीसी के सूत्रों ने इस खबर को सही बताया है कि वे अपनी कबड्डी टीम का प्रमोशन करेंगे। चैनल जहां इस खबर पर चुप्पी साधे हुए है, वहीं सूत्र बता रहे हैं कि अभिषेक और उनकी कबड्डी टीम के साथ केबीसी के इस एपीसोड की शूटिंग भी हो चुकी है, लेकिन अभी तक इसकी टेलीकास्ट डेट तय नहीं हुई है। 

अनुष्का की फिल्म के सेट पर हादसे में मजदूर की मौत

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बतौर निर्माता अनुष्का शर्मा की प्रोडक्शन कंपनी की नई फिल्म परी की शूटिंग के दौरान हाल ही में एक ऐसा हादसा हो गया, जिसकी चपेट में आकर फिल्म से जुड़े एक मजदूर की मौत भी हो गई। ये हादसा बंगाल के 24 परगना में हुआ, जहां टीम इस फिल्म की शूटिंग कर रही थी।

मिली जानकारी के अनुसार, जहां शूटिंग हो रही थी, वहां करंट लगने से सैटिंग डिपार्टमेंट के एक मजदूर की मौके पर ही मौत हो गई। मृतक का नाम शाह आलम था और उसकी उम्र 23 साल थी। हादसे के फौरन बाद उसे निकटवर्ती अस्पताल पंहुचाया गया, जहां डाक्टरो ने उसे मृत घोषित कर दिया।

बताया जाता है कि मृतक उत्तर प्रदेश के बांदा जिला का रहने वाला था। मिली जानकारी के अनुसार, जहां शूटिंग हो रही थी, वहां आसपास बांस की झाड़ियां थी, जिन पर करंट वाले वायर गुजर रहे थे। मृतक शाह आलम इन तारों में दौड़ रहे करंट का शिकार होकर अपनी जान गंवा बैठा। हादसे के फौरन बाद शूटिंग रोक दी गई और अनुष्का शर्मा कोलकाता वापस लौट गईं।

शाह आलम के पार्थिव शरीर को पोस्ट मार्टम के बाद स्थानीय पुलिस ने उसके पैतृक गांव भेजने का इंतजाम किया और मामले की जांच शुरु कर दी है। ‘एन एच 10’ और ‘फिल्लौरी’ के बाद बतौर निर्माता अनुष्का शर्मा की प्रोडक्शन कंपनी की ये तीसरी फिल्म है और ये अगले साल फरवरी में रिलीज होगी। बंगाली फिल्मों के निर्देशक प्रोसित राय इस फिल्म से पहली बार बालीवुड का रुख कर रहे हैं। विद्या बालन की फिल्म ‘कहानी’ की पहली कड़ी में बंगाल पुलिस के युवा अधिकारी का रोल निभाने वाले बंगाली अभिनेता परमब्रता चटर्जी इस फिल्म में अनुष्का शर्मा के साथ बतौर हीरो काम कर रहे हैं।

अवैध रुप से पेड़ काटने वाले पर मुकदमा दर्ज

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वंदना शर्मा वन बीट अधिकारी मालसी बीट वन विभाग ने थाना राजपुर पर सूचना दी की कि आज मैं अपने बीट क्षेत्र मालसी क्षेत्र में गश्त कर रही थी तो गोली रेस्टोरेंट पूर्वपुल रोड राजपुर के पास एक प्लॉट के बाहर सरकारी वृक्षों का पतन किया जा रहा था। काटने वालों सें  वृक्षों के काटने की अनुमति मांगी गई तो नहीं दिखाई। तभी वहां मौजूद एक व्यक्ति जिसका नाम चेतन तोमर द्वारा वन बीट अधिकारी वादिनी का हाथ पकड़कर गाली गलौज व मारपीट हाथापाई करने लगा। बन बीट अधिकारी द्वारा अपना परिचय भी दिया गया लेकिन वह गाली गलौज व मारपीट करने करता रहा। मौके से अभियुक्त फरार हो गया। जिसके विरुद्ध थाना राजपुर पर मु0अ0सं0 101 /2017 धारा 332/353/354/323/ 504/506 IPC में अभियोग पंजीकृत किया जा रहा है।

मोदी कैबिनेट से उमा-रूडी समेत आठ का इस्तीफा, चौधरी वीरेंद्र ने भी की पेशकश

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह के बीच केंद्रीय मंत्रिमंडल विस्तार पर हुई लंबी मीटिंग के चलते केंद्र के करीब आठ मंत्रियों ने इस्तीफा दे दिया। कुछ और मंत्रियों ने भी इस्तीफे की पेशकश की है। कई के मंत्रालय बदले जाने की भी खबर आ रही है।

गुरुवार देर रात कौशल विकास मंत्री रहे राजीव प्रताप रूडी ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। हेल्थ ऐंड फैमिली वेलफेयर राज्य मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। केंद्रीय जल संसाधन मंत्री उमा भारती ने स्वास्थ्य कारणों के आधार पर और संजीव बाल्यान, कलराज मिश्र, महेंद्र नाथ पांडेय, निर्मला सीतारमन और गिरिराज सिंह ने भी अपने इस्तीफे संगठन महामंत्री राम लाल को सौंप दिए हैं। वहीं चौधरी वीरेंद्र ने भी इस्तीफे की पेशकश की है।

गौरतलब है कि 2019 के आम चुनावों से पहले का ये आखिरी कैबिनेट फेरबदल माना जा रहा है। इसके चलते ये कयास लगाये जा रहे हैं कि कुछ मंत्रियों को चुनावों की तैयारी के लिये प्रधानमंत्री संगठन की जिम्मेदारी दे सकते हैं वहीं कुछ मंत्रियों को परर्फाॅर्म न करने का खामियाजा भुगतना पड़ सकता है।

डीएवी चुनाव काउंटिंग के दौरान डायवर्ट रहेंगे कुछ रुट

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डी.ए.वी. पी.जी0.कॉलेज छात्रसंघ चुनाव 2017-18 के अन्तर्गत मतदान कार्यक्रम सकुशल सम्पन्न हुआ तथा अाज 9:00 बजे से मतगणना का कार्यक्रम प्रस्तावित है।  छात्रसंघ चुनाव के दृष्टिगत शान्ति एवं कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिये व छात्रसंघ के चुनाव को शान्ति पूर्ण ढंग से सम्पन्न कराये जाने के लिये सम्पूर्ण कॉलेज परिसर व उसके आस-पास के क्षेत्र को 3 जोन में विभाजित किया गया है। प्रत्येक जोन के प्रभारी अधिकारी पुलिस उपाधीक्षक रेंक के अधिकारी को बनाया गया है।

इसके अतिरिक्त कनक चौक, एस्लैह़ॉल, धारा चौकी के पास (यूनिवर्सल) स्थित पैट्रोल पंपों पर सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस बल नियुक्त किया गया है। साथ ही शांति व्यवस्था के दृष्टिगत डीएवी कॉलेज व उसके आसपास के क्षेत्र में कानून व्यवस्था बनाये रखने तथा सतर्क दृष्टि रखने हेतु 5 पेट्रोल कारों में मोबाइल पार्टियों को नियुक्त किया गया है। निम्न स्थानों पर अस्थाई बैरियर स्थापित कर उनमें पीएसी व पुलिस बल नियुक्त किया गया है:

1. डीएवी कॉलेज मेन गेट
2. डीएवी चौक
3. चावला चौक
4- सर्वे चौक
5. नन्ही दुनिया बैरियर, डीएवी रोड।

चुनाव मतगणना के उपरांत विजयी प्रत्याशीयो के जलूस नगर मजिस्ट्रेट की अनुमति के पश्चात ही निकाले जाएंगे तथा किसी भी विजयी जलूस को सर्वे चोक से आगे जाने की अनुमति नहीं दी जाएगी। इसके अतिरिक्त डालनवाला/ कोतवाली के मुख्य बाज़ारों, पेट्रोल पम्पो, बारों, होटलो, रेस्तरों आदि स्थानों पर देर रात्रि तक पुलिस बल तथा चीता मोबाइल नियुक्त की जायेंगी।

अर्जुन अवार्ड ना मिलने पर खिलाडी गया हाईकोर्ट

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पैरा बैडमिन्टन विश्व चैंपियन, मनोज सरकार को अर्जुन अवार्ड ना देने के मामले में उच्च न्यायालय नैनीताल ने केंद्र सरकार को 4 सप्ताह के भीतर स्पष्टीकरण देने के निर्देश दिए है। अदालत ने कहा है कि, “सरकार मनोज को अवार्ड ना देने के कारणों को भी स्पष्ट करें।”

आपको बतादे कि विश्व पैरा बैडमिन्टन चैंपियन मनोज सरकार ने अर्जुन/ द्रोणाचार्य अवार्ड चयन समिति पर पैरा बैडमिन्टन खिलाड़ियों से भेदभाव करने का आरोप लगाया था। मनोज के मुताबिक अर्जुन पुरस्कार के लिए सरकार ने एक क्राइटेरिया बना रखा है, पर अर्जुन अवार्ड चयन समिति ने सरकार के इस क्राइटेरिया को ही दरकिनार कर दिया।

मनोज सरकार का दावा था कि अंको के आधार पर अर्जुन अवार्ड के वो पहले हकदार है। बाकी खिलाड़ी अंको के मामले में उनसे काफी पीछे थे, पर अर्जुन अवार्ड चयन समिति ने मनोज के इस दावे को नजरंदाज कर दो ओलम्पियन वरुण भाटी व एम थंगवेलु को अर्जुन अवार्ड के लिए चुन लिया था और 29 अगस्त को केंद्र सरकार ने इन दोनों पैरा खिलाड़ियों को अर्जुन पुरस्कार से सम्मानित भी कर दिया।

केंद्रीय खेल मंत्रालय और साई के इस फैसले के खिलाफ मनोज ने नैनीताल उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया,जिसके बाद अदालत ने केंद्र सरकार को 4 सप्ताह के भीतर स्पष्टीकरण देने के निर्देश दिए है।

तो अब सीसीटीवी की मदद से पकड़े जाऐंगे ट्रैफिक नियम तोड़ने वाले

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अगली बार जब आप सिग्नल तोड़ते हैं, तो आपको आश्चर्यचकित होने की जरुरत नहीं है अगर आपको अपने मोबाइल फोन पर ई-टिकट मिले तो। देहरादून जल्द ही ऐसे शहरों की सूची में शामिल होंगे जो ई-चालान बनाने के लिए सीसीटीवी कैमरे का इस्तेमाल करते हैं। इस योजना के तहत,  ट्रैफिक नियमों को तोड़ने के कुछ मिनटों के अंदर ही एक ई-चालान मैसेज के माध्यम से नियम तोड़ने वाले को भेजा जाएगा।

संजय गुंजल, पुलिस महानिरीक्षक (आईजी) प्रावधान और रखरखाव, ने कहा, “यातायात नियम तोड़ने वालों पर लगाम लगाने के लिए, हम एक बुद्धिमान चालान प्रणाली को लागू करेंगे जिसके तहत स्वचालित चालान यातायात तोड़ने को भेजे जाएंगे। पहले चरण में, यह प्रणाली देहरादून में एक व्यस्त जंक्शन पर स्थापित की जाएगी। “

सीसीटीवी आॅटोमेटेड चालान सिस्टम मे स्वचालित संख्या प्लेट मान्यता (एएनपीआर) और रेड लाइट उल्लंघन जांच (आरएलवीडी) प्रौद्योगिकी का उपयोग किया गया है।

गुंन्जयाल ने कहा कि आठ एपीएनआर कैमरे, प्रत्येक के लिए लगभग 8 लाख रुपये खर्च होंगे, जो सड़कों के दोनों किनारों पर लगाए जाऐंगे और उन्हें रीजनल परिवहन कार्यालय के सेंट्रलाइज्ड सर्वर के साथ जोड़ा जाएगा। सिस्टम वाहन मालिक के निवास और मोबाइल नंबर को खोजने के लिए आरटीओ डाटाबेस तक पहुंचने में सक्षम होगा।”निर्धारित सीमा से तेज गति वाले वाहनों की पहचान करने के लिए कैमरे को गति रडार से जोड़ा जाएगा सिस्टम अपराध के आधार पर ई-चालान प्रिंट करेगा, जो एसएमएस के माध्यम से उन्हें चेतावनी देने के बाद अपराधी के निवास पर भेज दिया जाएगा। “

एसएमएस में एक लिंक होता है जो ट्रैसर पुलिस की वेबसाइट पर मोटर यात्री को ले जाता है जहां डेबिट और क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल किया जा सकता है।1 जनवरी से 31 जुलाई के बीच देहरादून पुलिस ने ट्रैफिक नियम तोड़ते हुए चालकों के लिए 151 चालान जारी किए। जबकि शहर की सड़कों पर तेजी से वाहन चलाने के लिए 1,347 चालान जारी किए।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) देहरादून, निवेदिता कुकरेती ने बताया, “एएनआरपी कैमरे एक विशेष जंक्शन से गुजरने वाले वाहनों की आवाजाही भी रिकॉर्ड करेंगे ताकि वाहनों में भागने वाले अपराधियों का पता लगाना भी आसान हो जाएगा।”

कुकरेती ने यह भी कहा कि नई प्रणाली स्थापित करने के लिए पुलिस दिलाराम चौक या कंवाली चौक चुन सकती है।इससे पहले, एक सीसीटीवी को असरोडी और जोगीवाला में स्वचालित चालान सक्षम करने के लिए स्थापित किया गया था, लेकिन यह पहल ज्यादा नहीं चल सकी क्योंकि एक कैमरा प्रणाली पूरी सड़क को कवर करने और अपराधियों को पकड़ने में सफल नहीं रही।

भारत-नेपाल सीमा पर नो मैन्स लैंड से हटाया जाएगा अतिक्रमण, ड्रोन से निगरानी

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भारत-नेपाल की सीमा को चाक चैबंद बनाने के लिए आयोजित की गई बाउंड्री वर्किंग ग्रुप की बैठक संपन्न हो गई। बैठक में पांच साल का लक्ष्य तैयार करते हुए इस अवधि में सीमा को चाक चैबंद बनाने का निर्णय लिया गया। ग्रुप की अगली बैठक वर्ष 2018 में नेपाल में आयोजित की जाएगी।

बुधवार को संपन्न हुई तीन दिवसीय बैठक में भारत-नेपाल सीमा पर नदी क्षेत्रों में 1222 पिलर के निर्माण पर सहमति बनाई गई। नदी क्षेत्रों में ये पिलर बाढ़ से गायब हो गए हैं। इनके निर्माण के साथ ही बाढ़ से बचाव के लिए इनका विशेष डिजाइन भी तैयार किया गया है और अन्य क्षेत्रों में क्षतिग्रस्त व गायब हो चुके सीमा पिलर पर भी काम किया जाएगा।
बैठक में सीमा पर नो मैन्स लैंड में जगह-जगह पसरे अतिक्रमण को लेकर भी विशेष चर्चा की गई। तय किया गया कि सर्वे ऑफिसियल कमेटी (एसओसी) व फील्ड सर्वे टीम (एफएसटी) नए सिरे से अतिक्रमण चिन्हित करेगी और फिर उस पर दोनों देश कार्रवाई करेंगे। सीमा पर मौजूदा स्थिति यह है कि इसका 12 हेक्टेयर से अधिक भाग पूरी तरह गायब है।

Drone

इसके अलावा भी नो मैन्स लैंड पर पक्के अतिक्रमण तक खड़े हो गए हैं। इनके चिन्हीकरण व हटाने की पूरी जिम्मेदारी एसओसी व एफएसटी को दी गई है। ग्रुप की बैठक में भारत की तरफ से नो मैन्स लैंड क्षेत्र में ड्रोन से निगरानी करने का प्रस्ताव भी रखा गया। इस पर सहमति तो मिल गई, लेकिन उड़ान की ऊंचाई व अन्य बातों को लेकर नेपाली दल ने अपनी सरकार के साथ विचार-विमर्श करने के बाद स्वीकृति देने की बात कही। तीन दिवसीय बैठक के इन तमाम कार्यवृत्त पर भारत के महासर्वेक्षक वीपी श्रीवास्तव व सर्वे ऑफ नेपाल के महानिदेशक गणेश प्रसाद भट्टा ने संयुक्त रूप से हस्ताक्षर किए। 

सुभारती मेडिकल कॉलेज में दाखिले पर लगी रोक हटी

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एमबीबीएस में दाखिले के इच्छुक राज्य के युवाओं के लिए एक अच्छी खबर है। दून स्थित श्रीदेव सुमन सुभारती मेडिकल कॉलेज में दाखिले पर लगी रोक हट गई है। सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार के उस आदेश को खारिज कर दिया जिसमें कॉलेज में दो सत्र के लिए प्रवेश पर रोक लगा दी थी। अदालत ने कहा कि केंद्र व एमसीआइ मेरिट के आधार पर कॉलेज में 150 छात्रों के प्रवेश की अनुमति दे। ये प्रक्रिया पांच सितंबर तक पूरी की जाए।

चीफ जस्टिस दीपक मिश्र, जस्टिस अमित्व रॉय व जस्टिस एएम खानविलकर की पीठ ने केंद्र को लताड़ते हुए कहा कि जब आपसे कहा गया था कि प्रवेश के मामले में अड़ंगा न डालें तो फिर ऐसा क्यों किया गया। कॉलेज को प्रवेश करने से रोकने वाली अथॉरिटी को लताड़ते हुए कहा कि ऐसा लगता ही नहीं कि आदेश जारी करते समय विवेक का पालन किया गया। केवल खुद को बड़ा दिखाने के लिए आदेश जारी कर दिया गया।
उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार ने श्रीदेव सुमन सुभारती मेडिकल कॉलेज में दो सत्रों 2017-18, 2018-19 में प्रवेश पर रोक लगा दी थी। 14 अगस्त को जारी आदेश में केंद्र का कहना था कि कॉलेज में ढांचागत व्यवस्थाएं दुरुस्त नहीं हैं, इसलिए प्रवेश की अनुमति नहीं दी जा सकती है। केंद्र ने मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया को भी कहा था कि वह सिक्टोरिटी के तौर पर जमा की गई दो करोड़ की धनराशि को जब्त करे। हालांकि पीठ ने यह भी कहा कि कॉलेज की ढांचागत व्यवस्थाएं जांचने का काम वह एमसीआइ के साथ करे। इसके लिए अदालत की पाबंदी नहीं है।