खून की कमी के रोगियों को मिली राहत, दून अस्पताल में लगेगा ब्लड सैपरेटर

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देहरादून। डेंगू, लीवर और खून की कमी से पीड़ित मरीजों को अब प्लेटलेट्स, प्लाजमा और आरबीसी के लिए शहर में इधर-उधर नहीं दौड़ना पड़ेगा। राजकीय दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल में दूसरा उच्च क्षमता वाला आधुनिक ‘ब्लड सैपरेटर’ लगने जा रहा है।

मशीन के लगने का पूरा खर्चा नेशनल हेल्थ मिशन (एनएचएम) करेगा। अस्तपाल को केवल उसका संचालन करना है। सैपरेटर लगने से बीपीएल और मुख्यमंत्री स्वास्थ्य बीमा योजना के मरीजों को मुफ्त खून के ये तीनों अंग मिलेंगे। दून अस्पताल में इस समय जो ब्लड सैपरेटर है, वो डिमांड के हिसाब से सप्लाई पूरी नहीं कर पाता। लिहाजा, मरीजों को निजी केंद्र की ओर रुख करना पड़ता है। लेकिन अब एनएचएम ने दूसरा आधुनिक सैपरेटर लगाने का प्रस्ताव दून अस्पताल को भेजा है। जिसमें अस्पताल के पास डेंगू से लड़ने के लिये प्रयाप्त क्षमता हो जायेगी। दून अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डा. केके टम्टा ने बताया, सैपरेटर का पूरा व्यय एनएचएम वहन करेगा। इससे मरीजों को बहुत फायदा मिलेगा।
पेलियेटिव केयर या प्रशामक देखभाल की ओपीडी दून अस्पताल में शुरू होने जा रही है। इसके लिए एक डॉक्टर और नर्स दिल्ली से प्रशिक्षण प्राप्त कर लौट चुके हैं। अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डा. केके टम्टा ने बताया, स्वास्थ्य सलाहकार डा. नवीन बलूनी के दिशा निर्देश में ये ओपीडी शुरू की जा रही है। प्रशामक देखभाल उन मरीजों को दी जाती है जो गंभीर बीमारी के चलते सो नहीं पाते। या जिनका रोग, असहनीय दर्द देता हो। इसमें ऐसी दवायें दी जाती है, जिनके लिये विशेष अनुमति ली जाती है। मसलन, मोरफिन आदि दवायें। इसमें काउंसिलिंग के साथ ही दवा भी दी जाती है। पेलियेटिव केयर ओपीडी में एनस्थेटिक डा. हेमा सक्सेना और नर्स सतीश चंद्र धस्माना रहेंगे।