धराली आपदा: स्वास्थ्य विभाग अलर्ट, दून मेडिकल कॉलेज और एम्स ऋषिकेश में बेड आरक्षित

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उत्तरकाशी जिले के धराली में आई भीषण प्राकृतिक आपदा के बाद स्वास्थ्य विभाग अलर्ट पर है। दून मेडिकल कॉलेज देहरादून, कोरोनेशन जिला चिकित्सालय व ऋषिकेश एम्स में 280 से अधिक जनरल बेड और 90 से अधिक आईसीयू बेड आरक्षित किए गए हैं। साथ ही मानसिक स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए 03 मनोचिकित्सक धराली भेजे गए हैं।

इस संबंध में स्वास्थ्य सचिव डॉ. आर. राजेश कुमार ने बताया कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के स्पष्ट निर्देश हैं कि एक भी घायल या जरूरतमंद व्यक्ति इलाज से वंचित न रह जाए। स्वास्थ्य विभाग हर स्थिति के लिए पूरी तरह तैयार है। सभी जिलों के मुख्य चिकित्साधिकारी (सीएमओ) और आपदा प्रतिक्रिया टीमें अलर्ट पर हैं। 108 एम्बुलेंस सेवा को भी चौबीसों घंटे एक्टिव मोड पर रखा गया है। यह एक संवेदनशील समय है। किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

उन्होंने बताया कि देहरादून, ऋषिकेश में प्रमुख चिकित्सा संस्थानों में बेड आरक्षित कर दिए गए हैं, ताकि आपदाग्रस्त क्षेत्र से लाए गए घायलों को तत्काल उपचार मिल सके। उन्होंने बताया कि आपदा से प्रभावित लोगों में मानसिक तनाव और अवसाद की स्थिति पैदा होना स्वाभाविक है। इसे ध्यान में रखते हुए सरकार ने विशेष तौर पर तीन मनोचिकित्सकों को धराली क्षेत्र में तैनात किया है, ताकि जरूरतमंदों को तत्काल काउंसलिंग और मनोवैज्ञानिक सहायता मिल सके। चिकित्सकों की यह टीम स्थानीय प्रशासन के साथ समन्वय में काम करेगी और राहत शिविरों में जाकर लोगों से संवाद भी करेगी।

उन्होंने बताया कि चिकित्सा व्यवस्था के तहत दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल, देहरादून में 150 जनरल बेड, 50 आईसीयू बेड, कोरोनेशन जिला चिकित्सालय देहरादून में 80 जनरल और 20 आईसीयू बेड, एम्स ऋषिकेश में 50 जनरल बेड, 20 आईसीयू बेड आरक्षित किए गए हैं। इन अस्पतालों में चिकित्सकों, नर्सिंग स्टाफ, पैरामेडिकल और दवा आपूर्ति की व्यवस्था भी पूरी कर ली गई है।

उल्लेखनीय है कि उत्तरकाशी जिले के धराली में मंगलवार को बादल फटने से भारी तबाही हुई है। खीरगंगा नदी में सैलाब आ गया। इस आपदा में अबतक 4 लोगों की मौत हुई है और कई लोग लापता बताए जा रहे हैं। बुधवार सुबह से ही घटनास्थल पर राहत और बचाव कार्य में जारी है।