सरकार में नहीं है “आॅल इज वैल”, मुख्यमंत्री ने महाराज की चिट्ठी को किया दरकिनार

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उत्तराखंड सरकार में कलह की खबरें कुछ समय से आ रही हैं। इन अटकलों को उस समय और हवा मिल गई जब उड्डयन विभाग पर हमला करते हुए पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज की चिट्ठी पर मुख्यमंत्री ने जांच की बात को मना कर दिया। पत्रकारों से अनौपचारिक बातचीत करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि “हैलीकाॅप्टर कहां लैंड होना है ये तकनीकी मामला है और पायलट इसके बारे में फैसला लेने के लिये सबसे सही व्यक्ति हैं। इसलिये सभी को उनके विवेक पर यकीन करना चाहिये” मुख्यमंत्री ने ये भी कहा कि ” हाल ही में में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री का हेलीकाॅप्टर हादसे का शिकार होते होते बचा है। ऐसे में इस मामले को तूल देने की ज़रूरत नही है”

गौरतलब है कि सतपाल महाराज ने चिट्ठी लिखकर मुख्यमंत्री से उड्डयन विभाग की शिकायत करते हुए कहा ता कि जानबूझकर विभाग के अधिकारियों और पायलेट ने उनकी यात्रा के दौरान मनमाना रवैया इख्तयार किया जिसके चलते उन्हें अपने कामों में दिक्कतों का सामना करना पड़ा। इसके लिये बकायदा महाराज ने 10 और 23 मई को चमोली और द्रोनागिरी में हैलीकाॅप्टर को लैंड न करने के वाक्यों की ज़िक्र किया।

मुख्यमंत्री और सतपाल महाराज के बीच सब ठीक न होने की खबरों ने तब से ज़ोर पकड़ा था जब चार धाम यात्रा की शुरुआत के मौके पर पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ऋषिकेश मुख्यमंत्री के कार्यक्रम में नहीं पहुंचे। इसके पीछे मुख्यमंत्री की महारज के भाई बोले महाराज से नजदीकी को बताया जा रहा है, जिनसे खुद महाराज की नहीं बनती।

इससे पहले भी कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत ने पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत को बेहतर मुख्यमंत्री बता कर सरकार में सब कुछ सही न होने के संकेत दिये थे।