देहरादून। राज्य गठन के बाद से ही गैरसैंण को स्थाई राजधानी बनाने की मांग उठती रही है। इस साल तमाम राजनीतिक और गैर राजनीतिक संगठन राजधानी के मुद्दे पर सरकार को घेर रहे हैं। इस बीच पहली बार सरकार ने बजट सत्र को गैरसैंण में आयोजित करने का फैसला किया। यूं तो त्रिवेंद्र सरकार का यह दूसरा बजट होगा। लेकिन, गैरसैंण में 20 मार्च से शुरू हो रहा बजट सत्र गैरसैंण में पहली बार आयोजित किया जा रहा है। राज्य गठन के 17 साल में यह पहला मौका होगा जब राज्यपाल गैरसैंण में अभिभाषण देंगे। 20 मार्च का राज्यपाल का अभिभाषण होगा और 22मार्च को वित्त मंत्री प्रकाश पंत वर्ष 2018-19 का बजट पेश करेंगे।
विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद अग्रवाल के अनुसार 21 मार्च को अभिभाषण और धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा होगी। 22 मार्च को धन्यवाद प्रस्ताव पारित करने के साथ ही वित्त मंत्री प्रकाश पंत वित्त वर्ष 2018-19 का बजट पेश करेंगे। 23 मार्च को बजट पर चर्चा होगी। इतना ही नहीं पहली बार शनिवार को भी सत्र जारी रहेगा। 24 मार्च को बजट पर सामान्य चर्चा के साथ ही अनुदान मांगें प्रस्तुत की जाएंगी। अभी तक कार्यमंत्रणा की बैठक में 24 मार्च का बिजनेस ही पारित हो पाया है। अगर सत्र को इसके बाद भी जारी रखना पड़ा तो इसको लेकर 24 मार्च को ही कार्यमंत्रणा की बैठक होगी और आगे का बिजनेस तय किया जाएगा। विपक्ष ने शनिवार को रविवार को भी सत्र जारी रहने की स्थिति में सहयोग का आश्वासन दिया है।
उधर, इस साल का बजट सत्र हंगामों से भरा रहने वाला है। तमाम राजनीतिक और गैर राजनीतिक संगठनों के कार्यकर्ता गैरसैंण में जुट गए हैं। गैरसैंण को स्थाई राजधानी घोषित किए जाने की मांग को लेकर सरकार जहां सदन के अंदर विपक्ष का सामना करेगी, वहीं सदन के बाहर तमाम संगठन सरकार के लिए आफत बनेंगे। हालांकि, सरकार ने अपनी ओर से सभी तैयारियां की हैं, लेकिन सत्र के दौरान ये तैयारियां कितनी कारगर साबित होंगी, देखना बाकी है।