त्रिवेंद्र सरकार ने पेश किया बजट, जानिए खास बातें

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गैरसैंण में चल रहे विधानसभा के बजट सत्र में वित्तीय वर्ष 2018-19 के लिए उत्तराखंड की त्रिवेंद्र सरकार ने 45585 करोड़ रुपये का बजट पेश किया है। त्रिवेंद्र सरकार के कार्यकाल का यह दूसरा बजट है। पिछले वित्तीय वर्ष 2017-18 में त्रिवेंद्र सरकार ने 39957.20 करोड़ का बजट पेश किया था। वित्तीय वर्ष 2017-18 के मुकाबले यह 14.08 प्रतिशत ज्यादा है।

गुरुवार को उत्तराखंड के वित्त मंत्री प्रकाश पंत ने वित्तीय वर्ष 2018-19 का बजट सदन में पेश किया। 45 हजार 585 करोड़ के इस बजट में ग्राम्य विकास, शिक्षा और स्वास्थ्य पर सरकार का फोकस रहा है। इसका उद्देश्य उत्तराखंड में पलायन की समस्या पर काबू पाना है। वहीं पुलिस के आतंरिक ढांचे को मजबूत करने पर भी सरकार का ध्यान गया है। शिक्षा के बाद सर्वाधिक बजट ग्राम्य विकास को मिला है। बजट में देखें तो पहले नंबर पर शिक्षा, दूसरे पर ग्राम्य विकास, तीसरे पर हेल्थ सेक्टर, चौथे पर सड़क और पुल निर्माण, पांचवें पर आंतरिक सुरक्षा (गृह) और छठे नंबर पर आपदा प्रबंधन को सरकार ने प्राथमिकता दी है।

बता दें कि चमोली जिले के गैरसैंण स्थित विधानसभा भवन में उत्तराखंड की भाजपा सरकार का बजट सत्र चल रहा है। आज सत्र का तीसरा दिन था। दोपहर बाद शुरू हुई कार्यवाही में सदन के पटल पर वित्त मंत्री बजट रखा। वित्त मंत्री प्रकाश पंत ने आय-व्यय को प्रस्तुत किया। साथ ही बजट पर अपना भाषण पढ़ा। एक तरफ जहां सदन में बजट पेश करने की कार्यवाही चल रही थी, वहीं सदन के बाहर गैरसैंण को स्थायी राजधानी बनाने के लिए प्रदर्शन जारी रहा। धरने बैठे आंदोलनकारियों ने सुबह 10 बजे सड़क पर जाम लगा दिया था। बाहर स्थायी राजधानी के लिए जमकर प्रदर्शन हुआ।

बजट के मुख्य बिंदु 

  • वित्तीय वर्ष 2018-19 में कुल बजट का 31.55 प्रतिशत खर्च वेतन भत्ते मजदूरी में होगा खर्च।
  • वित्तीय वर्ष 2018 -19 के कुल बजट का 10.67 प्रतिशत ब्याज में होगा खर्च।
  • कामकाजी महिलाओं के बच्चों के लिए देखभाल हेतु राष्ट्रीय क्रेच योजना के अंतर्गत 3 करोड़ 70 लाख धनराशि की व्यवस्था
  • प्रदेश में ऑर्गेनिक हर्बल स्टेट बनाने के लिए पंद्रह सौ करोड़ रुपए का बजट में प्रावधान
  • विधानसभा सचिवालय में विधानसभा स्थापना हेतु धनराशि की व्यवस्था
  • ग़ैरसैंण में अंतर्राष्ट्रीय संसदीय अध्ययन शोध एवं प्रशिक्षण संस्थान की स्थापना हेतु धनराशि की व्यवस्था
  • ईवीएम एवं वीवीपैट के लिए बजट 10 करोड़ रुपये की व्यवस्था की गई है
  • भोजन माताओं को वर्दी उपलब्ध कराने के लिए तीन करोड़ रुपये की  धनराशि
  • आशा कार्यकर्ताओं एवं एएनएम वर्कर्स  के लिए दुर्घटना बीमा योजना
  • प्रदेश में आर्थिक गतिविधियों पर्वतीय क्षेत्रों में पलायन रोकने के लिए ग्रोथ सेंटर की स्थापना , 15 करोड़ की धनराशि की व्यवस्था
  • पर्यटन बढ़ावा के लिए होम स्टे योजना को 15 करोड़ रुपए।
  • ग्राम्य विकास पर फोकस : 2019 तक गरीबी मुक्त होंगी 1374 ग्राम पंचायतें
  • बेस अस्पतालों के लिए अब तक का सर्वाधिक प्रावधान, 20 करोड़ की व्यवस्था
  • 382.15करोड़ के घाटे का है बजट
  • 25 हजार युवाओं को तकनीकी रूप से दक्ष बनाने टारगेट, 50 करोड़ का प्रावधान
  • दो साल के भीतर ऊधमसिंह नगर, हरिद्वार, देहरादून की सभी बसों को सीएनजी से चलाएंगे
  • मातृ पितृ तीर्थाटन योजना में पौड़ी का तड़केस्वर, रुद्रप्रयाग का कालीमठ, अल्मोड़ा का जागेश्वर, बागेश्वर का गिराड़ गौलू और बैजनाथ, पिथौरागढ़ का गंगोलीहाट भी शामिल।
  • मेट्रो रेल निर्माण के लिए 86 करोड रुपए की धनराशि
  • राज्य में मातृ एवं शिशु कुपोषण रोकने के लिए 10 करोड़ 25 लाख  42 हजार  की धनराशि
  • बीपीएल परिवारों के मुखिया हेतु आम आदमी बीमा योजना में 11 करोड़ 37 लाख 15 हजारकी व्यवस्था
  • किसानों के लिए दीनदयाल उपाध्याय सहकारिता किसान कल्याण योजना के अंतर्गत 30 करोड़ की व्यवस्था
  • सौंग बांध परियोजना हेतु 40 करोड रुपए की व्यवस्था
  • नैनीताल झील के पुनर जी वितरण हेतु 5 करोड़ रुपये की व्यवस्था
  • राज्य में उद्यमियों को निवेश के लिए डेस्टिनेशन उत्तराखंड के आयोजन हेतु 25 करोड़ रुपए की धनराशि की व्यवस्था